केंद्रीय मंत्री शोभित टण्डन जी के साथ अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मण्डल फ़िरोज़ाबाद के ज़िलाध्यक्ष एवं राष्ट्रीय अध्यक्ष मानव अधिकार प्रोटेक्शन घनश्याम गुप्ता

Our Mission Justice

Human Rights, Civil Rights, Fundamental Rights, Senior Citizen Rights, Women Rights, Rights of Minorities, Right to freedom of Education, Labour Rights, Right to Information

Know your Rights

Whereas recognition of the inherent dignity and of the equal and inalienable rights of all members of the human family is the foundation of freedom, justice and peace in the world

Human Rights

HUMAN RIGHTS and SOCIAL JUSTICET he word itself explains the purpose of forming the organisation. This organisation is formed by the people and is served to the people, by the people

HRPI885 (LOGO)

About Us

मानव अधिकार प्रोटेक्शन के चर्चा में आते ही समाज विरोधी तत्वों, मनमाने नौकरशाही दलालों, अत्याचारी पुलिस व दबंगों में तहलका मच गया है | वो अपनी मनमानी में अंकुश लगना देख संगठन का विरोध करने लगे हैं | आम पीड़ित व्यक्ति इसके माध्यम से न्याय , उपचार एवं सुरक्षा प्राप्त कर रहे हैं तथा प्रतिदिन सदस्यों की संख्या अप्रत्याशित रूप से बढ़ रही है |

हमारी सक्रियता

देश एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर में मानवाधिकारों के लिए समर्पित एवं सजं बुद्धजीवियों द्वारा अंतर्राष्ट्रीय अशासकीय सामाजिक संगठन “मानव अधिकार प्रोटेक्शन ” का गठन अभी हाल ही में 10 फरवरी 2014 को किया गया है जिसे केंद्रीय सरकार द्वारा पंजीयन संख्या 885/2014/ प्रदान की गयी
 
मानव प्रकृति का सर्वश्रेष्ठ प्राणी हैं तथा यह एक समाज में जीवन यापन करता हैं | समस्त प्राणियों में इसके श्रेष्ठ होने का प्रमुख माध्यम इसका सामाजिक संगठन तथा उत्तरोतर विकास की संरक्षण प्रक्रिया जिसे विज्ञानं कहते हैं , के द्वारा प्राप्त हुआ है | समाज में प्रत्येक मानव को नैतिक रूप से उसके समाज द्वारा निर्धारित कर्तव्यों तथा परम्पराओं को अंगीकृत तथा अनुपालन करने की जहाँ बाध्यता होती है , वहीँ उसके अधिकारों के संरक्षण तथा मर्यादा व आचरण की कठिनाईयों के निराकरण का दायित्व उसके समाज को होता है |

Gujrat trip in news

Holi Milan Samaraoh Agra

मानव अधिकार प्रोटेक्शन के राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय घनश्याम गुप्ता जिला अगरा अपने साथियों के साथ पहुँचे
जहां बिचपुरी रोड अमरपुरा में जन कल्याण प्रजापति ऐसोशियेशन उ॰ प्र॰ द्वारा आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि स्वरूप सभी वहाँ के नागरिकों ने 51 किलो की माला पहना कर मा॰ घनश्याम गुप्ता का भव्य स्वागत किया गया उन्होंने जनता को जागरुक करते हुए उनके अधिकारों को बताया कहा जानकारी के अभाव में सरकार की कुर्शीयों पर बैठ अधिकारी आपका अनावश्यक उत्पीडन करते हैं,
जब कि उनको आपके काम करने के लिये ही बैठाया गया है लेकिन भोलेभाले आम लोगों को भ्रमित कर जानकारी न होने के कारण आपको उन भ्रष्टाचारी अधिकारियों को झेलना पड़ता है पर अधिकारी यह भूल जाते कि आप ही उनके अन्नदाता है आपके ही दिये हुये टैक्स के पैसों से ही उनके परिवारों का लालन पालन होता है । उन्होंने कहा अधिकारी अगर अपने आप को मालिक समझने लगे हों तो सरकार की नौकरी छोड़ व्यापार करना शुरू कर दें अन्यथा व्यापारी व आम जन देश प्रदेश की सरकारों की रीडकीहड्डी होता है उनकी बात को सुनें उनके प्रति समर्पित भावना रख उनके काम को करें । साथ ही उत्तर प्रदेश में आगामी नगर निकाय चुनावों में ईमानदार जनता के लिये समर्पित भाव रखनेवाले और शिक्षित लोगों को चुन कर जो अपने कार्य क्षेत्रों में विकास करा सकें आपके बीच रह कर हर छोटी समस्या को सज्ञान लेकर समाधान करा सके चुन कर नगर निगम नगर पालिका नगर पंचायत वार्ड सभासद पार्षदों को चुन कर भेजने की अपील की ॥ इसी क्रम में राष्ट्रीय सचिव एडवोकेट आलोक गुप्ता ने उत्तरी विधानसभा आगरा टीम की मंच से घोषणा की जिसमें रामसेवक प्रजापति को विधानसभा अध्यक्ष उत्तरी आगरा पदभार दिया साथ ही दीपक जी को महामंत्री, डा॰ अवधेश जी को कोषाध्यक्ष, प्रेम सिंह प्रजापति जी को वरिष्ठ उपाध्यक्ष, राजेश कुमार जी को मंत्री विधानसभा उत्तरी आगरा का कार्यभार दिया सम्स्त संगठन की ओर से होली की शुभकामनाएँ सहित अनेकों बधाई दी, राष्ट्रीय महासचिव महिला श्रीमती रीना गुप्ता ने महिलाओं को अपने वक्तव्यों में उनके अधिकारों के प्रति जागरुक करते हुये उन्हें मज़बूती प्रदान कराते हुये महिला उत्पीडन से सम्बन्धित समस्याओं को सुन सम्बन्धित विभाग के साथ सम्पर्क कर सामाधान कराने का भरोसा दिलाया और सभी नवनियुक्त पदाधिकारीयों को शुभकामनाएँ और बधाइयाँ प्रेषित की संगठन के उपाध्यक्ष श्रीमती नेहा अग्रवाल व श्रीकृष्ण वर्मा ने कार्यक्रम में उपस्थित सैंकड़ों की संख्या में नागरिकों को होली की शुभकामनाएँ दी ।
प्रेषक – एडवोकेट आलोक गुप्ता
राष्ट्रीय सचिव
मानव अधिकार प्रोटेक्शन

India is a country with a rich cultural heritage, diversity, and values. One of the core values that have been enshrined in our constitution is the recognition of social rights. Social rights are an essential part of the constitutional rights of every Indian citizen, and it is the duty of every individual to be aware of these rights and fight for their implementation.

As part of our commitment to promoting awareness of social rights in India, we are organizing an awareness program in our upcoming event. This program aims to educate individuals about the importance of social rights and how they can play an active role in ensuring their implementation.

The following are some of the essential social rights in India:

  1. Right to Education: Every child has the right to education, and the government has a duty to provide free and compulsory education up to the age of 14 years.

  2. Right to Health: Every individual has the right to access basic healthcare facilities, and the government has a duty to provide affordable and accessible healthcare services.

  3. Right to Employment: Every individual has the right to work and to choose their profession, trade, or occupation.

  4. Right to Information: Every individual has the right to access information and government records under the Right to Information Act.

  5. Right to Equality: Every individual has the right to equality before the law, without any discrimination based on religion, caste, gender, or any other grounds.

  6. Right to Freedom: Every individual has the right to freedom of speech and expression, freedom of assembly, association, and movement.

  7. Right to Privacy: Every individual has the right to privacy, which includes the right to protect their personal information and data.

By promoting awareness of social rights, we can empower individuals to demand their rights, hold the government accountable for their implementation, and create a more just and equal society. It is our collective responsibility to ensure that these rights are protected and respected, and we can achieve this only through increased awareness and education.

Our awareness program will include informative talks and interactive sessions on the importance of social rights, their implementation, and the role of individuals in promoting them. We will also have expert speakers and activists sharing their experiences and insights on social rights and how they have fought for their implementation.

We invite everyone to join us in this crucial awareness program and be a part of this movement for social justice and equality in India. Together, we can create a better and more equitable society for all.

 

जब कहीं से ना हो न्याय मिलने की आस तो सीधे चले आना मानव अधिकार प्रोटेक्शन के पास

राजेन्द्र झा० प्रदेश अध्यक्ष मध्य प्रदेश मोबा० न० 09425717394

समस्त बिहार और झारखंड के सम्मानित बन्धुवरों से निवेदन है कि संगठन से जुड़ने के लिए बिहार और झारखंड में संपर्क कर सकते हैं
श्रीमान ज्ञानदेव ज्ञानी जी प्रदेश प्रभारी बिहार एवं एसके सिन्हा प्रदेश अध्यक्ष बिहार सह राज्य प्रभारी झारखंड
संपर्क मो०  08340510433, 07004888698

मेमन ज़ाकिर हुसैन अध्यक्ष सेन्ट्रल गुजरात

मो० 09924192181

जिगना दर्शन रूपारेलिया अध्यक्ष सेन्ट्रल गुजरात महिला प्रकोष्ठ

मो०09725450700

Hrpi 885

News & post

राष्ट्रीय अध्यक्ष 
मानव अधिकार प्रोटेक्शन 
 
प्रिय बंधुवर, मानव अधिकारों का क्षेत्र जितना व्यापक है उतना ही पुराना इतिहास भी है जो मानव की उत्पत्ति से ही प्रारंभ हुआ है | विश्व में समाज की संरचना के साथ ही समाज समुदाय, समूह तथा राज्य के संचालन के नियम होते थे तथा उनका मुखिया अपने अधीनस्थ प्राणियों के संरक्षण का उत्तरदायी होता रहा है | वह स्वयं को भी इन नियमों के अंतर्गत मानता था | हर व्यक्ति हर जाती हर वर्ग के लोगों के सम्मान जनक जीवन जीने का अधिकार होना चाहिए | भूख, गरीबी, अशिक्षा एवं स्वास्थ्य सम्बन्धी समस्याओं को निराकरण तथा दमन एवं शोषण से मुक्ति ही मानव अधिकारों का सबसे बड़ा संरक्षण है | प्राचीन भारतीय सभ्यता एवं संस्कृति विश्वा मानव कल्याण से ओत प्रोत रही है | प्राचीन भारतीय सभ्यता एवं संस्कृति विश्वा मानव कल्याण से ओत प्रोत रही है | विश्व मानव शताब्दी विचार धाराओं, वसुधैव कुटुम्बकम, सर्वेभवन्तु सुखिनः जैसी विश्व कल्याणकारी विचार धाराओं का उदय सबसे पहले भारत में ही हुआ था फ़ो अंतर्राष्ट्रीय शांति का केंद्र बना | इन्ही मूल्यों के संरक्षण एवं सर्वमान हेतु २४ अक्टूबर १९४५ को संयुक्त राष्ट्र संघ अस्तित्व में आया | संयुक्त राष्ट संघ द्वारा १० दिसम्बर १९४८ को सार्वभौमिक घोषणा पत्र तैयार हुआ तभी से १० दिसम्बर को मानवाधिकार दिवस मनाया जाता है यह अंतर्राष्ट्रीय मानकों की पहली मिसाल है इसी के बाद मानवाधिकार अंतर्राष्ट्रीय कानून बन गया | सम्पूर्ण विश्व में मानवाधिकार को निम्नवत करने के लिए तथा इसके विकास के लिए संयुक्त राष्ट संघ द्वारा महत्वपूर्ण कार्य किया गया |२४ अक्टूबर १९४५ को संयुक्त राष्ट्र संघ अस्तित्व में आया | संयुक्त राष्ट संघ द्वारा १० दिसम्बर १९४८ को सार्वभौमिक घोषणा पत्र तैयार हुआ तभी से १० दिसम्बर को मानवाधिकार दिवस मनाया जाता है यह अंतर्राष्ट्रीय मानकों की पहली मिसाल है इसी के बाद मानवाधिकार अंतर्राष्ट्रीय कानों बन गया | सम्पूर्ण विश्व में मानवाधिकार को निम्नवत करने के लिए तथा इसके विकास के लिए संयुक्त राष्ट संघ द्वारा महत्वपूर्ण कार्य किया गया इस घोषणा पत्र में ३० अनुच्छेद हैं | इन अनुच्छेद में सम्पूर्ण मानवाधिकार का वर्णन किया गया है | इन्हें मानवता का मैग्नाकारी कहा जाता है | संयुक्त राष्ट्र महा संघ ने मानवाधिकारों को चार रूपों(सामाजिक , आर्थिक, राजनितिक, सांस्कृतिक ) में प्रस्तुत किया है | संयुक्त राष्ट्र के मानवाधिकार सम्बन्धी विधेयक में समानता , शिक्षा , धर्म, सामाजिक सुरक्षा ,मानव व्यवहार ,न्याय , आत्म निर्णय का अधिकार, धर्मान्तरण और आर्थिक एवं सांस्कृतिक उन्नति के अधिकार सम्मिलित हैं | बाद में इसमें बच्चों और महिलाओं के अधिकारों को सम्मिलित किया गया है,
 
 
 
 

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